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इंडस्ट्रीज की बेबसीरीज की टॉप हीरोइन – सुनीता राजपूत

मुंबई ( गिरजा शंकर अग्रवाल ) – आज मुंबई में अभिनेत्री , हॉट गर्ल सुनीता राजपूत से मुलाकात हुई। मुलाकात पर हमारे फिल्म रिपोर्टर गिरजा शंकर अग्रवाल को बताया कि मैने इंडस्ट्रीज में बहुत से बेबसीरीज किए हैं। जिसमें प्रमुख रूप से हमारी बेबसीरीज चाची कांड, रंगीन बातें , शिलाजीत – इस बार होगा , बावर्ची EP -1, मस्ती पार्ट -2, मनमानियां उल्लू ओ. टी. टी. पर बहुत अच्छा धमाका किया हुआ था। इसका बहुत अच्छा रिस्पॉन्स मिला था।गांव की गर्मी सीजन – 3 , उल्लू ओ.टी.टी. पर रिलीज की गई थी । स्कर्ट गेम्स सीजन 1 यह भी रिलीज़ हो चुकी है ।
एक्टर नवाजुद्दीन सिद्दीकी का बहुत ही सपोर्ट मिला है। एक्ट्रेस सुनीता राजपूत ने बताया कि मैं पुणे के अहिल्यांगर (अहमद नगर) की रहने बाली हूं। मैं फिल्मों में काम करने के लिए मुंबई करीब पांच – छै: साल पहले आई हुई थी। मुझे बचपन से ही एक्टिंग करने का शौक था। इसी शौक को लेकर मुंबई आ गई । हमारे पापा का आफ हो जाने के बाद मैने परिवार रीढ़ की हड्डी बन कर सहयोग किया। हमारे परिवार में मेरी मम्मी और छोटी बहिनों का पूरा- पूरा सहयोग मिल रहा है। उन्होंने बताया कि मैने फिल्म सिटी में बतौर असिस्टेंट आर्ट डायरेक्टर, डायरेक्टर के रूप में 2 – 3 साल काम किया हैं। ओर शॉर्ट- शॉट मूवी बनाकर सोशल मीडिया पर अपलोड करके भी मुझे काफी रिस्पॉन्स मिला है।ओर मिल रहा है। ओर इस फिल्म लाइन में आने से परिवार के अन्य लोगों की बदमीजी झेलने को मिल रही हैं।
क्योंकि हमारी कामयाबी उन्हें रास नहीं आ रही है। परिवारिक उलझनों से निपटने में कोई सहयोग नहीं कर रहा हैं। क्योंकि मैं इंडस्ट्रीज में अपना काम कर रही हूं। ओर मुझे काफी सफलता मिल रही है। इसी वजह से लोग जल रहे हैं। लेकिन उन्हें यह पता नहीं , एक कलाकार को इन सब बातों का कोई लेना देना ही होता हैं। परिवार के लोगों ने हमारे पीछे गांव के कुछ शरारती लोगों को भी लगवाए गए हैं। मुझे जान से मरवाने के लिए, जिसमें मेरे फ्रेंड भी साथ दे रहे हैं।
क्योंकि मैं बेबसीरीज ,फिल्मों में कतई काम न करूं। क्योंकि पापा के ऑफ के बाद परिवार की परेशानी को दूर करने के लिए मजबूरन मैं मैने बोल्ड सीन, बिकिनी शूट पहनकर बेबसीरीज की हैं। मेरी सफलता पर लोग ईष्या करते हैं। ओर मुझे जान से मरवाना चाहते हैं। उन्हें यह नहीं पता कि मैं एक साहसी लड़की हूं। महारानी लक्ष्मी बाई अंग्रेजों से लड़कर अमर हो गए हैं। वह हमारी प्रेरणास्रोत हैं। हमारी ओर बेबसीरीज” कुलटा , पापाके दोस्त , हेलो डॉक्टर, पलंग तोड़, देशी किस्से, के अलावा अन्य बेबसीरीज में काम किया हैं। ओर आगे भी कई प्रोजेक्ट फ्लोर पर चल रहे हैं।